pages
Home
कहानी
कविता
फोटोग्राफी
नानाजी का ब्लॉग
Medico's diary
Friday, June 20, 2014
इज़्ज़त
DISSECTION हॉल में लाश को नंगा देख
अपनी रुमाल से उसकी इज़्ज़त ढंकी,
फिर स्काल्पेल से incision देते हुए वो फुसफुसाई -
" मुर्दे भी डॉक्टर्स से इतनी सी उम्मीद तो रखते ही हैं , भले.……!!"
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
View mobile version
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment